छत्तीसगढ़

धमतरी में महानदी पर बने पुल का बड़ा हिस्सा धंसा, आवाजाही हुई बाधित

धमतरी: जिले में कुरूद और मगरलोड के बीच मेघा में महानदी पर बना पुल का एक बड़ा हिस्सा धंस गया. शनिवार की रात पुल का हिस्सा धंस चुका था. सुबह जब राहगीरों ने धंसे हुए पुल को देखा तब यह बात पुलिस और प्रशासन को बताई गई. उसके बाद जिला प्रशासन हरकत में आया. पुल के पास बैरिकेटिंग की गई और पुल पर आवाजाही को रोका गया.

जांच के लिए विशेषज्ञों की टीम बुलाई गई: सूचना के बाद मगरलोड पुलिस ने दोनों हिस्सों में बैरिकेड लगाकर बड़े वाहनों का आना-जाना रोक दिया. अभी इस पुल से दो पहिया वाहन या पैदल जा रहे लोगों को ही आने-जाने दिया जा रहा है. दूसरी तरफ क्षतिग्रस्त पुल की जांच के लिए विशेषज्ञों की टीम को बुलाया गया है. यह टीम मौके पर जाकर देखेगी कि पुल को कितना नुकसान हुआ है? क्या इसकी मरम्मत हो सकती है? या फिर क्या नया पुल निर्माण की जरूरत है?

34 साल पहले बना था पुल: जानकारी के मुताबिक साल 1990 में इस पुल का निर्माण किया गया था. 34 साल पहले जब इस पुल को बनाया गया, तब इस सड़क पर भारी वाहनों की आवाजाही नहीं हुआ करती थी, लेकिन बीते कुछ सालों में ओवरलोडेड रेत हाइवा और दूसरे भारी वाहनों का आना-जाना बढ़ गया. इसके साथ ही नदी से मनमाने तौर पर रेत निकासी के कारण भी पुल की नींव कमजोर पड़ी है. रेत निकासी के बाद नदी में स्थित पुल की नींव पर असर पड़ा है. यही सब पुल का हिस्सा धंसने का कारण माना जा रहा है.

पुल धंसने के कारणों की होगी जांच : इस मामले में धमतरी पीडब्ल्यूडी के ईई संतोष कुमार नेताम ने बताया कि इस रोड का निर्माण एबीडी ने किया था. विशेषज्ञों की टीम अब इसकी जांच करेगी. जांच रिपोर्ट के बाद ही कोई निर्णय लिया जाएगा. पीडब्ल्यूडी के मुताबिक पहली नजर में पुल धंसने की वजह नदी से मनमाने तौर पर रेत की निकासी है. माना जा रहा है कि 34 साल पुराने इस पुल की जगह अब नया पुल बनाना जरूरी है, क्योंकि जिस तरह से पुल धंसा हुआ दिखाई दे रहा है. उस पर आवाजाही आने वाले समय में खतरनाक साबित हो सकती है.

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