छत्तीसगढ़ का एक ऐसा अनोखा गांव, जहां हर घर में एक न एक व्यक्ति के पास है सरकारी नौकरी

आज के दौर में युवा से लेकर हर व्यक्ति का सपना सरकारी नौकरी का होता है. सरकारी नौकरी पाने के लिए देश में कई तरह के प्रतियोगी परीक्षा होती है, जिसको पास करने के लिए लोग सालों-साल परीक्षा की तैयारी करते हैं.
लेकिन क्या आप जानतें छत्तीसगढ़ में एक ऐसा गांव भी हैं जहां हर घर में एक न एक व्यक्ति के पास सरकारी नौकरी है. अब आप सोच रहें होंगे कि ये कैसे पॉसिबल है कि गांव के हर घर में एक न एक व्यक्ति सरकारी नौकरी कर रहा है.
अब इसे वरदान कहें या चमत्कार लेकिन यह सच है. इस गांव का पूरे इलाके में एक अलग ही रुतबा है. इस गांव में कुल 425 परिवार रहते हैं जिनमें से हर दूसरे व्यक्ति के पास सरकारी नौकरी है.
नक्सली क्षेत्र के हर घर में सरकारी अफसर
यह छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले के सिहावा अंचल में बसा भुरसीडोंगरी गांव हैं. जानकरी के मुताबिक ये इलाका घोर नक्सल प्रभावी क्षेत्र है. इस गांव में गरीब आदिवासियों का रहवास है. यहाँ के ज्यादातर लोग मजदूरी का काम करते हैं.
लेकिन इस क्षेत्र का भुरसीडोंगरी गांव पूरे जिले और देश के लिए मिसाल है. घोर नक्सल प्रभावी क्षेत्र होने के बावजूद यहां के लोगों ने शिक्षा और ज्ञान से नाता नहीं तोड़ा है. आकड़ों की माने तो यहां आपको कुल 297 प्राचार्य, हेडमास्टर या फिर शिक्षक मिलेंगे.
इसके अलावा यहां लगभग 106 लोग पुलिस विभाग में नौकरी करते हैं.
शिक्षक के साथ कलेक्टर भी हैं लोग
आपको बता दें इस गाँव में लगभग 50 लोग ऐसे हैं जो छत्तीसगढ़ में बड़े पदों पर बैठे हुए हैं. कई कलेक्टर है तो कोई प्रिंसिपल या फिर सेना में पदस्थ है. यहाँ के ज्यादातर लोग शिक्षा विभाग में काम कर रहें हैं. यहाँ पर सरकारी नौकरी करने वाला हर व्यक्ति दिवाली के समय घर वापस आते हैं.

इस गांव ने देश के साथ-साथ प्रदेश के लोगों को भी शिक्षा और ज्ञान के प्रति केन्द्रित रहने की शिक्षा दी है.